इस साल शहर में गरबे की रात नहीं सजेगी। पिछले कई सालाें से शहर में गरबा करवा रहे सात बडे़ आयाेजकाें ने काेराेना संक्रमण की वजह से इस साल कार्यक्रम नहीं कराने का फैसला किया है। सरकार ने गरबा के कार्यक्रम पर अब तक गाइडलाइन जारी नहीं की है। अगर सरकार अनुमति देती है ताे सिर्फ एक संस्था सीमित लाेगाें के साथ गरबा सेलिब्रेशन आयाेजित करने की तैयारी कर रही है।
नवरात्रि 17 अक्टूबर से है। शहर में राेजाना बड़े स्तर पर काेराेना पाॅजिटिव केस सामने आ रहे हैं। गरबा सेलिब्रेशन में हर साल बड़े स्तर पर भीड़ जुटती है। ऐसे में साेशल डिस्टेंसिंग मेंटेन न हाेने से काेराेना संक्रमण का खतरा और बढ़ सकता है, इस बात काे ध्यान में रखकर समितियाें ने गरबा न कराने का फैसला किया है। हर साल नवरात्रि पर गरबे के गीताें से गूंजने वाले समता काॅलाेनी, शैलेंद्र नगर, फन फिएस्टा ग्राउंड, अंबा मंदिर, बीटीआई ग्राउंड जैसे इलाकाें में इस साल सन्नाटा पसरा रहेगा।
समता काॅलाेनी: इस साल सिर्फ कलश स्थापना
समता कॉलोनी स्थित रास गरबा समिति शहर के सबसे पुराने गरबा आयोजन स्थल में शामिल है। यहां हाेने वाले गरबा उत्सव में हजाराें लाेग जुटते थे। समिति के योगेश अग्रवाल ने बताया, काेराेना संक्रमण की वजह से गरबा करवाने के बजाय इस साल सिर्फ माता की पूजा और कलश स्थापना की जाएगी।
अंबा मंदिर: 19 साल से हाे रहा था गरबा, इस साल भजन
सती बाजार स्थित अंबा मंदिर में पारंपरिक तौर पर 19 साल से गरबा आयाेजित किया जा रहा है। हर साल यहां दो से तीन राउंड सर्कल बनाकर गरबा खेला जाता था। समिति के योगेंद्र शर्मा ने बताया, इस बार गरबा नहीं खेला जाएगा। नवरात्रि के 9 दिन मंदिर में भजन हाेंगे। इसमें भी सिर्फ सोसाइटी मेंबर शामिल हो सकेंगे। इस दाैरान मास्क पहनना अनिवार्य हाेगा।
शैलेंद्र नगर: समिति के मेंबर्स घर में ही स्थापित करेंगे कलश
शैलेंद्र नगर स्थित फन फिएस्टा ग्राउंड में 16 साल से गरबा हो रहा है। यहां हर साल एक साथ, एक समय में लगभग एक हजार लाेग गरबा खेलते नजर आते थे। इस बार गरबा नहीं हाेगा। समिति की नीतू सिंह ने बताया कि इस बार समिति के सभी मेंबर अपने-अपने घरों में ही कलश स्थापना कर मां दुर्गा की पूजा-अर्चना करेंगे।
पाटीदार भवन: 1962 से हाे रहा था गरबा, टूटेगी परंपरा
फाफाडीह स्थित पाटीदार भवन में 1962 से गरबा आयोजित किया जा रहा है। यहां पारंपरिक वेशभूषा में गरबा खेला जाता है। संस्था के महासचिव देवजी भाई पटेल ने बताया, पहली बार ऐसा होगा जब गरबा नहीं किया जाएगा। कलश स्थापना होगी। राेजाना समाज के 4 से 5 लोग सोशल डिस्टेंसिंग और मास्क पहन कर कलश की पूजा करेंगे।
आशीर्वाद भवन: इस साल सिर्फ कलश स्थापना
लाेहाणा महाजन संस्था बैरन बाजार स्थित आशीर्वाद भवन में पिछले 10 सालाें से गरबा आयाेजन करती आ रही है। संस्था के हितेश रायचुरा ने बताया कि इस साल बड़े स्तर पर गरबा कार्यक्रम नहीं हाेगा, लेकिन माता की पूजा अर्चना और कलश स्थापना और घट स्थापना करेंगे।
भनपुरी ग्राउंड: इस साल सूना रहेेगा मैदान
कच्छ गुर्जर समाज भनपुरी स्थित ग्राउंड में बड़े स्तर पर गरबा आयोजन करता आ रहा है। इसमें हर साल समाज के हजाराें लोग गरबा खेलने जुटते हैं। आम लोगों को भी गरबा देखने की अनुमति दी जाती रही है, लेकिन इस बार यहां भी गरबा नहीं खेला जाएगा।
बीटीआई ग्राउंडः ऑनलाइन प्राेग्राम करवाने की तैयारी
उद्गम सामाजिक संस्था 2012 से शंकर नगर स्थित बीटीआई ग्राउंड में गरबा का आयोजन करती आ रही है। संस्था की प्रेसिडेंट अनिता खंडेलवाल ने बताया, कोरोना के कारण इस बार कार्यक्रम नहीं रखेंगे। गरबा प्रेमियाें के मनाेरंजन के लिए संस्था इस बार ऑनलाइन गरबा करने की प्लानिंग कर रही है।
अनुमति मिली ताे 3 दिन तक तीन शिफ्ट में गरबा उत्सव मनाने की तैयारी
वीआईपी रोड स्थित एक होटल में 23 से 25 अक्टूबर तक एक इवेंट कंपनी गरबा उत्सव आयाेजित करने की तैयारी कर रही है। अनिल जोतसिंघानी ने बताया, जिला प्रशासन से हमने कार्यक्रम के लिए अनुमति मांंगी है। काेविड के सारे नियमों को ध्यान में रखकर गरबा करवाने की प्लानिंग है। अनुमति मिलती है ताे एक बार में 200 लोगों को ही गरबा खेलने की एंट्री दी जाएगी। कार्यक्रम तीन शिफ्ट में होगा। अगर अनुमति नहीं मिलती ताे ऑनलाइन इवेंट कराया जाएगा।
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